भिलाई के प्रोफेसर विनोद शर्मा से मारपीट के मामले में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। इस मामले में छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बेटे और याचिकाकर्ता चैतन्य बघेल की ओर से सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने अपना पक्ष रखा।
उन्होंने इस मामले में गूगल आईडी और पासवर्ड को लेकर बहस की। कपिल सिब्बल ने पुलिस द्वारा चैतन्य बघेल से उनकी गूगल आईडी और पासवर्ड मांगने का विरोध किया, और मुख्य न्यायाधीश ने भी इस पर सहमति जताते हुए इसे निजता के अधिकार का उल्लंघन माना।
इस मामले में सितंबर महीने में चैतन्य बघेल से पूछताछ की गई थी। इस मामले में कुल 9 आरोपी हैं, जिनमें से 5 को गिरफ्तार किया जा चुका है, जबकि 4 अन्य की तलाश जारी है। मामले की अगली सुनवाई दो सप्ताह बाद होगी।
19 जुलाई को प्रोफेसर विनोद शर्मा पर जानलेवा हमला हुआ था, जिसके बाद पुलिस ने एक महीने की जांच के बाद रीवा से तीन बदमाशों को गिरफ्तार कर जेल भेजा। इन आरोपियों में प्रवीर शर्मा, धीरज वस्त्रकार और शिवम मिश्रा शामिल हैं। घटना को अंजाम देने वाले 3 अन्य आरोपियों की पुलिस अभी तलाश कर रही है।
12 दिन आईसीयू में इलाज के बाद बची थी प्रोफेसर की जान
इस मामले की गंभीरता को देखते हुए, प्रोफेसर शर्मा को दिल्ली के एम्स अस्पताल में एयर एंबुलेंस से शिफ्ट किया गया था, जहां उनका बयान भी दर्ज किया गया। प्रोफेसर को 20 फ्रैक्चर आए थे, और 12 दिन आईसीयू में इलाज के बाद उनकी जान बच पाई।
अब उनका इलाज दिल्ली के वेदांता अस्पताल में चल रहा है और जल्द ही उन्हें छत्तीसगढ़ लाने की तैयारी है। इस बीच, उनकी सुरक्षा बढ़ा दी गई है, और दिल्ली में पुलिस जवानों को तैनात किया गया है।